लिंगेश्वरी मंदिर कोंडागाव छत्तीसगढ़
दोस्तों, छत्तीसगढ़ के कोंडागांव जिले में स्थित माता लिंगेश्वरी देवी का मंदिर एक अद्वितीय स्थल है जिसका महत्व और रहस्य बेहद गहरा है। इस मंदिर की कहानी और उसकी विशेषताएँ हैं जो इसे एक प्रसिद्ध धार्मिक स्थल बनाती हैं।
मंदिर का स्थान और विशेषताएँ
स्थान: माता लिंगेश्वरी देवी का मंदिर छत्तीसगढ़ के कोंडागांव जिले के फरसगांव ब्लाक में स्थित है, जबकि ग्राम- आलोर से 3.70 कि.मी. की दूरी पर है।
मूर्ति की ऊंचाई: माता लिंगेश्वरी देवी की मूर्ति लगभग 2 से 3 फीट ऊंची है।
शिवलिंग की स्त्री रूप में पूजा: इस मंदिर में अनोखी बात यह है कि शिवलिंग की स्त्री रूप में पूजा की जाती है, जिसे लिंगाई माता के नाम से भी जाना जाता है।
प्रतिवर्ष बढ़ता है देवी का मूर्ति: माता लिंगेश्वरी माता की मूर्ति हर साल बढ़ती है और भाद्रपद के शुक्ल पक्ष के नवमी तिथि के बाद एक दिन के लिए ही मंदिर खुलता है, जब भक्त उनके दर्शन कर सकते हैं।
धार्मिक महत्व और मनोकामना की पूर्ति: मनोकामना की पूर्ति: माता लिंगेश्वरी माता के मंदिर का दर्शन करने वाले भक्तों की मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
संतान सुख की प्राप्ति: कई भक्त अपनी संतान प्राप्ति के लिए माता के मंदिर में आते हैं और वहां अपनी मनोकामनाओं को पूरा करने के लिए प्रार्थना करते हैं, जिसे माता लिंगेश्वरी माता पूरा करती हैं।
मेला का आयोजन: माता लिंगेश्वरी माता के मंदिर के बाहर मेला लगता है और यहां के भक्त आते हैं ताकि वे माता के दर्शन कर सकें और मेले का आनंद ले सकें।
रहस्यमय गुफा: गांव आलोर के नामक जगह पर एक रहस्यमय गुफा है, जिसमें शिव और पार्वती के समन्वित स्वरूप को लिंगेश्वरी माता कहा जाता है। इस गुफा में जानवर के पैर के निशान भी पाए जाते हैं, जिन्हें चमत्कार समझा जाता है।
महत्वपूर्ण सूचना
- गुफा का समय: माता लिंगेश्वरी देवी के मंदिर का गुफा कपाट प्रातः 4:00 बजे से भक्तों के लिए खुलता है।
- मन्दिर में प्रवेश: किसी भी दर्शनार्थी को गुफा के अंदर प्रवेश निषेध है।
- मन्दिर दर्शन: देवी दर्शन गुफा द्वार से ही किया जा सकेगा।
- मन्नत पूर्ण हो चुके भक्तों की कतार: मन्नत वाले भक्तों को खीरा लाना अनिवार्य है ।
- नशा का सेवन: नशा का सेवन करके मंदिर दर्शन करना पूर्णत: वर्जित है।
FAQ –
आलोर के लिंगेश्वरी मंदिर क्या है?
आलोर के लिंगेश्वरी मंदिर छत्तीसगढ़ राज्य, भारत में स्थित एक प्रसिद्ध मंदिर है। यह मंदिर मां लिंगेश्वरी की पूजा के लिए प्रसिद्ध है। और इसे स्थानीय लोग भगवान शिव के महत्वपूर्ण मंदिर के रूप में मानते हैं।
मंदिर का महत्व क्या है?
लिंगेश्वरी मंदिर छत्तीसगढ़ की प्रमुख शक्तिपीठों में से एक माना जाता है। यहाँ पर मां लिंगेश्वरी देवी की पूजा की जाती है और इसे स्थानीय लोग अपने देवी-देवताओं के रूप में मानते हैं। इस मंदिर में लोग शक्ति, समृद्धि और सुख-शांति की कामना करते हैं।
2023 में कब खुलेगा माता लिंगेश्वरी का मंदिर?
इस साल 2023 में 27 सितंबर दिन बुधवार को भक्तों के लिए माता लिंगेश्वरी के मंदिर के पट खोले जायेंगे।
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